चीन को मुंहतोड़ जवाब देने की तैयारी में भारत, 3 महीने पहले लिया जाता एक्शन लेकिन..

 

उधर, तनाव बरकरार है तो इधर तैयारियों का सिलसिला जारी है। यह तैयारी है भातीय सेना की उस ड्रैगन के खिलाफ जो लगातार भारत को अंजाम भुगतने की धमकी दे रहा है। भारतीय सेना की अब सारी तैयारियां मुकम्मल हो चुकी है। अब यह आईने क तरह साफ है कि अगर ड्रैगन नहीं माना तो उसे उसकी औकाद याद दिलाने में भारत ज़रा भी गुरेज नहीं करेगा। इसकी बानगी तो हम फिलवक्त भारतीय सेना के पिछले दिनों की कार्रवाई में देख चुके हैं कि कैसे भारतीय सेना चीन के खिलाफ अपने हर एक्शन को अंजाम दे रही है।

वहीं, अब यह पूरी तरह से साफ हो चुका है कि अगर चीन अपनी हरकतों से बाज नहीं आया तो भारतीय सेना तीन महिने पहले तैयार हो चुके प्लान को जमीं पर उतारने से तनिक भी गुरेज नही करेगी। भारतीय सेना के इस प्लान का नाम ऑपरेशन स्नो लियोपार्ड है। इस ऑपरेशन के तहत भारतीय सेना ने तमाम ऊंची व दर्गम पहाड़ियों पर अपना कब्जा जमा लिया है, ताकि ड्रैगन को माकूल जवाब दिया जा सके। इस ऑपेरशन को तीन महिने पहले ही ड्रैगन के खिलाफ तैयार किया गया था। लेकिन भारतीय सेना ने इसे खुद रोक दिया था। चीन को कुछ समय दिया गया था,  ताकि वो स्वत: अपनी हरकतों से बाज आए, लेकिन चीन के रूख से यह साफ जाहिर हो रहा है कि वो अब कतई  मानने को तैयार नहीं है। सेना प्रमुख जनरल एम.एम. नरवणे और कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल वाईके जोशी ने इस ‘ऑपरेशन स्नो लियोपार्ड’ को मंजूरी दे दी।

अब ऐसी स्थिति में जब एक तरफ जहां वार्ता का सिलसिला जारी है, लेकिन चीन का रूख इन सबसे मुख्तलिफ नजर आ रहा है। वार्ता की सेतु पर सवार होकर चीन लगातार ढोंग रच रहा, मगर वो मानने को कतई तैयार नहीं हो रहा है। अभी एलएसी पर तनाव की स्थिति बरकार है। ऐसे में भारतीय सेना चीन को माकूल जवाब देने के बाबत अब ऑपरेशन स्नो लोयोपार्ड को मंजूरी दे चुकी है। उधर, दुर्गम सहित अन्य पहाड़ियों पर  सैनिकों  को तैनात किया गया है।

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