भूमि पूजन से पहले देखें राम मंदिर का नजारा, प्रस्तावित मॉडल की अद्भुत तस्वीरें आई सामने

5 अगस्त को होने वाले राम मंदिर भूमि पूजन की सारी तैयारियां पूरी हो चुकी है, कल खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अयोध्या दौर पर पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने पूरी अयोध्या नगरी में तैयारियों का जायजा लिया. वहीं 5 अगस्त को होने जा रहे भूमि पूजन को लेकर सुरक्षा व्यवस्था के कड़े इंतजामात किए गए है, बता दें कि प्रधानमंत्री समेत करीब 175 मेहमानों को आमंत्रित किया गया है। इस बीच अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के लिए हो रहे भूमि पूजन के पहले सरकार ने राम मंदिर की प्रस्तावित तस्वीरें जारी की हैं. इन तस्वीरों में अयोध्या को दुल्हन की तरह सजाया गया है, पूरी नगरी पीले रंग में रंगमय हो चुकी है, अयोध्या का यह अद्भुत नजारा वाकई लोगों को आकर्षित करने वाला है।

बताया जा रहा है पीएम मोदी ही मंदिर के मंदिर के निर्माण के लिए नींव की ईंट रखेंगे. इस दौरान पीएम कुल तीन घंटे अयोध्या में बिताएंगे। कहा जा रहा है कि पीएम मोदीजन्मभूमि पर जाने से पहले हनुमानगढ़ी पर भी पूजा करने जाएंगे. चूंकि ऐसी मान्यता है कि भगवान हनुमान के आशीर्वाद के बिना भगवान राम के कोई काम शुरू नहीं होते, ऐसे में पीएम मोदी पहले भगवान हनुमान से पूजा कर आशीर्वाद लेंगे, जिसके बाद वो भूमि पूजन के लिए जाएंगे।

भूमि पूजन कार्यक्रम से पहले अवध के गांवों में राम और अयोध्या का गुणगान करते भक्ति लोक गीतों की बहार आ गयी है. ये गीत ना सिर्फ मंदिरों, बल्कि घरों और चौपालों पर भी पूरी भक्ति, उल्लास और उत्साह के साथ गाये जा रहे हैं. इस समय ‘जय जय गगन धुन छायी हो, राम आये अवध में’ भजन की भी धूम है. अयोध्या की गलियों और गांवों से गुजरते वक्त ये गीत अकसर सुनाई पड़ जाता है और फिलहाल अयोध्या के हर घर में इस सोहर की धूम है।

प्रसिद्ध लोक गायक राम कैलाश यादव की आवाज के जादू से सजा ‘राम लखन जब आये नगर में हो, पूछन लागीं सब नारी, सीता राम से भजौ’ प्रमुखता से गाया जा रहा है . यादव प्रतापगढ के हैं और जिले में हर जगह ये गीत सुनाई पड़ रहा है।

वहीं पीएम भूमि पूजन में मंदिर निर्माण के लिए 40 किलो की चांदी की ईंट आधारशिला के रूप में रखेंगे. पूजन के लिए धार्मिक अनुष्ठान सोमवार से ही शुरू किए जा चुके हैं। बता दें कि भूमिपूजन के लिए देश की संपूर्ण नदियों का जल

मंगवाया गया है. कई लोग मानसरोवर का जल भी लाए हैं. रामेश्वरम और श्रीलंका से भी समुद्र का जल आया है. लगभग 2000 स्थानों से जल और मिट्टी लाई गई है।

वहीं भूमि पूजन से पहले मंगलवार को रामार्चन पूजा शुरू हो गई है. रामार्चन पूजा सभी प्रमुख देवी और देवताओं को भगवान राम के पधारने से पहले न्योता देने के लिए की जाने वाली पूजा है. इस पूजा को कई चरणों में किया जा रहा है.

पहले चरण में राम के अलावा अन्य देवी-देवताओं की पूजा की जा रही है. दूसरे चरण में अयोध्या की पूजा होगी. इसके अलावा नल-नील, सुग्रीव की पूजा होगी. तीसरे चरण में दशरथ, उनकी रानियों, राम के सभी भाइयों और उनकी पत्नी की पूजा की जाएगी और अंत में भगवान राम का आह्वान किया जाएगा।

श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय का कहना है कि मंच पर पीएम के अलावा बस पांच लोग उपस्थित रहेंगे. कार्यक्रम में कुल 175 लोगों को आमंत्रित किया गया है, इसमें अलग-अलग आध्यात्मिक परंपराओं से आने वाले 135 संत शामिल हैं।

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