जेलों में बंद मुसलमानों की संख्या पर ओवैसी ने उठाया सावल, कहा- ये अन्याय है

 


AIMIM के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी अपने बयानों की वजह से काफी चर्चा में रहते हैं। इस बार असदुद्दीन ओवैसी ने जेल में बंद मुस्लिम पुरुषों को लेकर कहा है कि बड़ी संख्या में मुस्लिम पुरुष जेल में पहले ही थे लेकिन उनकी संख्या में अब और इजाफा हुआ है। नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों के आधार पर AIMIM के अध्यक्ष ऐसा कहा है।

नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों पर आधारित इंडियन एक्सप्रेस की खबर को शेयर करते हुए असदुद्दीन ओवैसी ने लिखा है कि, मुस्लिम पुरुषों को पहले से ही बड़ी संख्या में जेल रखा गया था। अब उनकी संख्या और भी बढ़ोत्तरी हुई है। कानून की नजर में भले ये लोग निर्दोष हैं, लेकिन अभी भी वे जेल में ही हैं। यह प्रणालीगत (Systemic) अन्याय का एक और प्रमाण है जिसका हम सामना कर रहे है।

AIMIM के अध्यक्ष और हैदराबाद से लोकसभा सांसद असदुद्दीन ओवैसीइंडियन एक्सप्रेस की खबर शेयर की थी। जिसमे कहा गया है कि वर्ष 2019 के आंकड़ों के अनुसार, उपेक्षा का शिकार रहने वाले समूहों में से एक ऐसा समुदाय मुस्लिम समुदाय है जिसमें दोषियों के मुकाबले विचाराधीन कैदियों (Undertrials) की संख्या ज्यादा है।

देश की सभी जेलों में वर्ष 2019 के अंत तक बंद दोषियों की संख्या में 21.7 प्रतिशत दलित हैं। दोषियों की संख्या में 16.6 प्रतिशत मुसलमान हैं, वहीं विचाराधीन कैदियों की संख्या 18.7 प्रतिशत है।

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