केंद्र सरकार ने फिर बढ़ाई महबूबा मुफ्ती की नजरबंदी, अब इतने दिन रहना होगा डिटेंशन सेंटर

जम्मू-कश्मी की पूर्व मुख्यमंत्री व पीडीपी की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती की परेशानी कोरोना संकट में और ज्यादा बढ़ गई है. दरअसल केंद्र सरकार ने महबूबा मुफ्ती की नजरबंदी 3 महीने और बढ़ाने का फैसला किया है. बता दें कि पिछले साल केंद्र की मोदी सरकार ने घाटी में ‘अनुच्छेद 370′ और ’35 ए’ को बिल्कुल समाप्त करने का फैसला लिया था. जिसके बाद से राज्य में कई दिनों तक तनाव की स्थिती बनी रही थी. कुछ पीडीपी नेताओं ने केंद्र के इस फैसले का विरोध भी जताया था. जिसमें महबूबा मुफ्ती, फारूख अब्दुल्ला, उमर अब्दुल्ला, पीपुल्‍स कॉफ्रेंस के नेता सज्‍जाद लोन यह तमाम लोग शामिल थे. इसके मद्देनजर केंद्र सरकार ने पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती को भी प्रदेश प्रशासन ने पांच अगस्त 2019 की सुबह जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम को लागू किए जाने से पूर्व प्रदेश के अन्य प्रमुख नेताओं संग एहतियातन हिरासत में लिया था, हालांकि महबूबा मुफ्ती ने अपनी रिहाई के लिए कोर्ट का दरवाजा भी खटखटाया था, लेकिन केंद्र सरकार के फैसले के बाद एक साल डिटेंशन सेंटर में रहना पड़ा।

वहीं एक बार फिर से केंद्र सरकार महबूबा मुफ्ती की नजरबंदी बढ़ाने पर विचार कर रही है, सूत्रों के अनुसार तीन महीने और महबूबा मुफ्ती डिटेंशन सेंटर में रहेंगी. पिछले दिनों महबूबा मुफ्ती को सरकारी निवास में शिफ्ट किया गया था.
हालांकि उन्हें जन सुरक्षा अधिनियम से मुक्त नहीं किया गया था और वह अगले आदेश तक अब अपने घर में ही कैद रहेंगी. उनके सरकारी निवासी फेयर व्यू को जम्मू-कश्मीर गृह विभाग ने पूरक जेल का दर्जा दिया है।
एक तरफ प्रशासन ने महबूबा मुफ्ती की नजरबंदी बढ़ाई है तो दूसरी तरफ पीपुल्‍स कॉफ्रेंस के नेता सज्‍जाद लोन को शुक्रवार को हिरासत से रिहा कर दिया गया है. लोन ने खुद ही ट्वीट कर रिहा होने की जानकारी दी.

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